अमावस्या को जन्मे बच्चे होते हैं मंदबुद्धि, जानिये जन्मतिथि से अपना व्यक्तित्व


अपने बारे में जानने के बारे में व्यक्ति बहुत उत्सुक रहता है। वह अपने स्वभाव और रुचियों से भलीभांति परिचित होता है, फिर भी उसके मन में कई तरह के प्रश्न उठते रहते हैं और उनका उत्तर पाने के लिए वह ज्योतिषीय सलाह लेता है।भविष्य, स्वभाव और रुचियों के बारे में जन्मकुंडली तो राज खोलती ही है, जन्म की तिथि से भी व्यक्ति के स्वभाव और गुणों के बारे में जानकारी हासिल की जा सकती है।

प्रत्येक माह में 15-15 दिन के दो पक्ष होते हैं, शुक्ल पक्ष और कृष्ण पक्ष। प्रतिपदा से अमावस्या तक कृष्ण पक्ष और फिर प्रतिपदा से पूर्णिमा तक शुक्ल पक्ष। कृष्ण और शुक्ल दोनों पक्षों में प्रथमा से चतुर्दशी तक चौदह तिथि, एक पूर्णिमा और एक अमावस्या। इस तरह एक माह में सोलह तिथियां होती हैं। इन सोलह तिथियों में जन्म लेने वाले व्यक्ति का अलग-अलग स्वभाव होता है।
#प्रतिपदा 
माह की प्रथम तिथि को जन्म लेने वाला व्यक्ति अक्सर बीमार रहता है। धन की कमी से जूझता रहता है,स्वयं का शरीर कमजोर होता है। श्रृंगार प्रेमी होता है।

# द्वितीया
माह की द्वितीया तिथि को जन्म लेने वाला पुरुष या स्त्री कमतर चरित्र वाले, परस्त्री या परपुरुष से संबंध रखने वाले, दूषित वाणी बोलने वाले, गलत लोगों की संगत में रहने वाले, दूसरों के प्रति दुराभाव रखने वाले। चोरी और धोखेबाजी करने में निपुण होते हैं।
# तृतीया
इस तिथि में जन्म लेने वाले व्यक्ति की बरकत नहीं होती । जितना कमाते हैं उतना खर्च कर देते हैं। आलसी, मंदबुद्धि किस्म के होते हैं। निर्धन, डरपोक, असंतोषी, हमेशा रोजगार की तलाश करने वाले होते हैं। इनके विचारों में कहीं भी ठोसपन नहीं होता।
# चतुर्थी
पंडित, विद्वान, बुद्धिमान, विशाल हृदय, दानी होते हैं। इनके पास धन तो होता है, लेकिन उसका पूर्ण उपभोग करने को लेकर चिंतित रहते हैं। पराक्रमी और इनके मित्रों की संख्या अधिक होती हैं। इनका रहन-सहन, पहनावा बहुत बढि़या होता है।

# पंचमी
धनी, किसी न किसी कला में माहिर, व्यापारी, पराक्रमी, माता-पिता की आज्ञा मानने वाले, शरीरिक सौंदर्य और सेहत का विशेष ध्यान रखने वाले, मालिश के शौकीन, प्रोफेशनल और अनेक प्रकार के बिजनेस की जानकारी रखने वाले होते हैं।

# षष्ठी 
माह के छठे दिन यानी षष्ठी तिथि को जन्म लेने वाले जातक घूमने-फिरने के शौकीन होते हैं। कई देशों और राज्यों की यात्रा करते हैं। हालांकि ये बदमिजाज भी होते हैं। अपने अहंकार की वजह से रिश्ते खराब कर लेते हैं। इसलिए इनके मित्र भी कम होते हैं। 

# सप्तमी 
धनवान, प्रतिभाशाली, कलाकार, दिखने में सुंदर होते हैं। समाज और परिवार में इनका मान-प्रतिष्ठा अच्छी होती है। इनकी संतानें किसी भी क्षेत्र में उल्लेखनीय कार्य करती हैं। अपने मधुर व्यवहार के कारण ये सभी के बीच लोकप्रिय होते हैं।

# अष्टमी
धर्मात्मा, दानी, सत्यवादी, धनवान, गुणवान, पराक्रमी, लेकिन कामी और परस्त्री या परपुरुष पर नजर रखने वाले होते हैं। इनके स्वभाव से लोग इनके करीब आते हैं, लेकिन अधिक समय तक इनके पास टिक नहीं पाते। ये जब क्रोध करते हैं तो किसी की नहीं सुनते।

# नवमी: 
नवमी तिथि में जन्म लेने वाले जातक कीर्तिवान होते हैं। इनकी कन्या संतानें अधिक होती हैं। विद्यावान और कला में निपुण होते हैं। शस्त्र विद्या में भी माहिर होते हैं। धार्मिक प्रवृत्ति वाले होते हैं। अनेक तरह के कार्यों से धन अर्जित करते हैं। 

# दशमी: 
धनवान, प्रतिभावान, धर्मकार्य के ज्ञाता, परिवार की भलाई के इच्छुक, कलाकार बनने की प्रबल इच्छा इनके मन में होती है। इन्हें यात्राएं करना पसंद होता है। भाई-बंधुओं, परिजनों से इनके संबंध अत्यंत मधुर होते हैं।

# एकादशी: 
ग्यारस तिथि में जन्म लेने वाले व्यक्तियों के विचार शुद्ध होते हैं और धर्म कार्य में इनका विशेष लगाव होता है। धनवान और नित गुरु की सेवा में लगे रहते हैं। इनकी अनेक संतानें होती हैं और ये सदा न्याय के रास्ते पर चलते हैं और दूसरों को भी सत्मार्ग पर चलने की सलाह देते हैं। 

# द्वादशी 
ये अपने जीवन में यात्राएं अधिक करते हैं। चाहे शौक से या कार्य के कारण लेकिन ये कभी एक जगह टिककर नहीं बैठते। विदेश यात्राएं भी करते हैं। इनका मन अत्यंत चंचल होता है। हमेशा कुछ नया सीखने की ललक इनके मन में होती है। 

# त्रयोदशी 
धनवान, विद्यावान, गुणी, पराक्रमी, दूसरों के काम में रुचि लेने वाले होते हैं। ऐसे व्यक्ति अपने अनुभवों का लाभ दूसरों को देने के प्रयत्न में लगे रहते हैं। अपनी अच्छी शिक्षा के कारण ये दूसरों का मार्गदर्शन करते हैं। लोगों के मन में इनके प्रति निष्ठा होती है। 

# चतुर्दशी 
ये व्यक्ति साहसी होते हैं। झूठ और धोखे से इन्हें सख्त नफरत होती है। शांत स्वभाव के होते हैं लेकिन मौका आने पर इनका क्रोध कहर ढा सकता है। गरीबों और साधु-संतों के लिए इनके मन में प्रेम होता है। इन्हें राजाओं के समान मान-सम्मान मिलता है।

# अमावस्या
अमावस्या तिथि के दिन जन्म लेने वाले जातक कम विद्या और बुद्धि वाले होते हैं। इनके दिल और दिमाग में सामंजस्य नहीं होने के कारण इनकी कथनी और करनी में बहुत अंतर होता है। मन में बातें दबाकर रखते हैं। कार्यों को धीमी गति से पूरे करते हैं।

# पूर्णिमा
इस तिथि पर जन्मे जातक बुद्धिमान, दिखने में सुंदर, अच्छा खान-पान और अच्छा पहनावा पसंद करते हैं। हालांकि इनकी कामवृत्ति तीव्र होती है और ये पराई स्त्री और पराए पुरुष से संबंध बनाते हैं। धन संपदा इनके पास होती है, लेकिन ये उसे संभालकर नहीं रख पाते।

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