खानपान की ये आदतें बिगाड़ती हैं सेहत


अनजाने ही खानपान को लेकर आपकी जो आदतें बन जाती हैं वे आपको बहुत ज्यादा नुकसान भी पहुंचा सकती हैं। इन आदतों के कारण आप ओवरईटिंग करते रहते हैं या बहुत ज्यादा सतर्कता बरतते हुए जरूरी पोषक तत्वों से भी दूर हो जाते हैं और खामियाजा भुगतते हैं। जानिए कि अपनी किन आदतों को बदलना जरूरी है ताकि आप खानपान को लेकर संतुलित राह चुन सकें। जब तक आप अपनी आदतों को ठीक नहीं करते हैं तब तक कुछ भी काबू में नहीं रहता है।

फैट से बचने की कोशिश :

किसी भी चीज को खरीदते हुए लोग अक्सर उस पर फैट कंटेंट को देखते हैं और फिर निर्णय लेते हैं। मगर हर तरह का फैट आपके लिए नुकसानदायक नहीं है। बहुत सारे फैट्स खानपान में शामिल करना जरूरी है। कुछ प्राकृतिक फैट्स मेटाबॉलिज्म को तेज करते हैं और इस तरह वे कैलोरी बर्न करने में मददगार होते है। कुछ हमें ऊर्जा देने के लिए महत्वपूर्ण हैं। अखरोट, ऑलिव ऑइल या पीनट बटर जैसी चीजों से डरिए नहीं।

रात में खाने की आदत :

कुछ लोग रात के खाने के बाद भी कुछ खाने की इच्छा रखते हैं तो कुछ रात में नींद खुलने पर कुछ न कुछ खाते हैं। रात के खाने के बाद आप जो भी खाते हैं वह अमूमन शरीर में फैट के रूप में जमा हो जाता है और उससे वजन बढ़ता है। इससे बचने का सबसे अच्छा तरीका है कि आप रात के भोजन के बाद किचन की तरफ रुख ही न करें या खाने-पीने की चीजें न रखें। 

डेस्क पर ही खाना :

कुछ लोग दफ्तर में अपनी डेस्क पर ही भोजन करने के आदी हो जाते हैं। वे काम के दबाव में ऐसा करते हैं या फिर उनका आलस ऐसा करने के लिए उन्हें मजबूर करता है। यह समझना जरूरी है कि काम में डूबे हुए आप जरूरत से 30 प्रतिशत भोजन ज्यादा करते हैं। यह ठीक वैसा ही है कि व्यक्ति टीवी देखते हुए जरूरत से ज्यादा भोजन कर लेता है। अगर यह आदत है तो उसे बदलिए।

जल्दबाजी में खाना :

हमसे पहले की पीढ़ी 30 से 50 मर्तबा चबाने के बाद भोजन को निगलती थी जबकि आज की पीढ़ी बहुत जल्दबाजी में खाने को सीधे ही निकल जाती है। माना जाता है कि यह पीढ़ी भोजन को 20 बार भी नहीं चबाती है। जब आप धीरे-धीरे भोजन करते हैं तो आपको एहसास रहता है कि आपने कितना खाना लिया है जबकि जल्दबाजी में भोजन करने पर आप पेट को पहले भर लेते हैं और बाद में लगता है आपने ज्यादा खा लिया।

डाइट फूड की दुविधा :

आजकल हर जगह डाइट ड्रिंक्स, लो फैट फूड, जीरो फैट फूड, नो केलोरीज या लो केलोरीज जैसी टैगलाइन के साथ चीजें बिक रही हैं। कंपनियां आपकी अतिरिक्त सतर्कता का फायदा उठाकर आपको इस तरह की चीजें बेचती हैं लेकिन यह सोचने की जरूरत है कि ये पदार्थ कितने हेल्दी हैं। पैकेज्ड फूड के पोषक गुण हमेशा से संदेह के घेरे में रहे हैं। ताजे फल और सब्जियों से जो फायदा है वह पैकेज्ड से नहीं।

ललचाता जंक फूड :

अध्ययन करने वालों का कहना है कि जब भी जंक फूड आपकी नजर के सामने से गुजरता है तो आप उसे खाने के लिए ललचा ही उठते हैं। इसलिए कोशिश कीजिए कि आप इस तरह की चीजों से खुद को दूर रखें। अगर आपके कैंटीन में इस तरह की चीजें मिलती हैं तो आप खाने की जगह को बदल सकते हैं। अपने लिए अलग केबिन चुनें या इच्छाशक्ति दिखाएं।

ब्रेकफास्ट छोड़ देना :

रात को जब आप सोते हैं तो आपका मेटाबॉलिज्म धीमा हो जाता है और इसकी रफ्तार तेज करने के लिए आपको सुबह हल्का नाश्ता करना चाहिए। यह बहुत ही रोचक तथ्य है कि जो लोग मोटापे पर काबू पाना चाहते हैं उन्हें सुबह का नाश्ता छोड़ने के बजाय अनिवार्य तौर पर नाश्ता करना चाहिए।

पर्याप्त पानी न पीना :

वजन या मोटापा कम करने के लिए आप खाने को लेकर बहुत सावधान हो गए हैं और कसरत करके पसीना भी बहा रहे हैं लेकिन अगर आप पर्याप्त मात्रा में पानी नहीं पीते हैं तो आपके प्रयासों के सही नतीजे नहीं मिलेंगे। शरीर में जल की कमी से आप जो भी खाते हैं उसका पाचन बहुत धीमे होता है। हमेशा पर्याप्त मात्रा में पानी पीते रहें।

एक टिप्पणी भेजें

यहाँ पर आपको मिलती है हेल्थ न्यूज, डेली हेल्थ टिप्स और ताजा स्वास्थ्य जानकारियां। इसके साथ ही जीवनशैली और चिकित्सा जगत में होने वाली नयी खोजों से अवगत भी कराते हैं हम।