सिर्फ 1 पान का पत्ता खाने से होते है ये 20 अद्भुत फायदे जिन्हें जान आप दंग रह जायेंगे


पान  जिसे अंग्रेजी में ‘betel leaf’ और संस्कृत में नागवल्लरी या सप्तशिरा कहते हैं, दक्षिण पूर्वी एशिया में पाया जाने वाली एक लता होती है। दिल के आकार वाले पान के पत्ते औषधीय गुणों से भरपूर होते हैं। भारतीय उपमहाद्वीप में भोजन के उपरांत पान का सेवन बहुत ही प्रचलित है। भारत में हर गली नुक्कड़ पर पान के दूकान की मौजूदगी इस बात का सबूत है की यहाँ पान कितना पसंद किया जाता है। पूजा पाठ से लेकर पान का इस्तेमाल मिठाई बनाने तक के लिए किया जाता है। हम यह बात मान सकते है कि पान के पत्तों में सुपारी, तंबाकू, चूना आदि लगा कर खाने से स्वास्थ संबंधी बीमारी हो सकती है। लेकिन आगर आप केवल पान के पत्तें का इस्तेमाल करते है तो यह काफी लाभकारी हो सकता है। इसे खानें से गंभीर से गंभीर बीमारियों जैसे कैंसर दूर करने से लेकर सरदर्द, कब्ज, दर्द दूर करने के गुण होते हैं। आज हम आपको अपने इस आर्टिकल में पान के इन्ही औषधीय गुणों के बारे में बताएँगे। आइए जानते हैं पान के पत्ते के फायदों के बारे में।

पान  (Betel Leaf) के पत्ते के 20 अद्भुत फायदे : 

कब्ज : पान के पत्ते चबाना कब्ज के लिए भी एक कारगर इलाज है। कब्ज की स्थिति में पान के पत्ते पर अरंडी का तेल (Castor Oil) लगाकर चबाने से कब्ज में राहत मिलती है।
खाँसी : पान के 15 पत्तो को 3 ग्लास पानी में डाल ले. इसके बाद, इसे तब तक उबाले, जब तक पानी उबल कर 1/3 ना रह जाए। इसे दिन में 3 बार पिए।
पाचन तंत्र : पान के पत्ता का वैसे माउथ फेशनर की तरह इस्तेमाल किया जाता है। लेकिन इसे चबाने से हमारें लिए कापी फायदेमंद हो सकता है। जब हम इसे चबा कर खाते है तब हमारी लार ग्रंथि पर असर पड़ता है। इससे इससे सलाइव लार बनने में मदद मिलती है। जो हमारी पाचन तंत्र के लिए बहुत ही जरुरी है। अगर आपने भारी भोजन भी कर दिया है उसके बाद आप पान खा लें। इससे आपको भोजन आसानी से पच जाएगा।
ब्रोंकाइटिस : पान के 7 पत्तो को 2 कप पानी में रॉक शुगर के साथ उबाले। जब पानी एक ग्लास रह जाए तो उसे दिन में तीन बार पिए. ब्रोंकाइटिस में लाभ होगा।
शरीर की दुर्गंध : 5 पान के पत्तो को 2 कप पानी में उबाले। जब पानी एक कप रह जाए तो उस पानी को दोपहर के समय पी ले। शरीर की दुर्गंध दूर हो जाएगी।
घाव : पान के पत्ते को पीस कर जले हुए जगह पर लगाए. कुछ देर बाद इस पेस्ट को धो दे और वहा शहद लगा कर छोड़ दे। घाव जल्दी ठीक हो जाता हैं।
गैस्ट्रिक अल्सर : पान के पत्ते के रस को पीने से गैस्ट्रिक अल्सर को रोकने में काफी मदद करता है। क्योंकि इसे गैस्ट्रोप्रोटेक्टिव गतिविधि के लिए भी जाना जाता है।
नकसीर : गर्मियो के दिनों में नाक से खून आने पर पान के पत्ते को मसलकर सूँघे। इससे बहुत जल्दी आराम मिलेगा।
मुँह के छाले : मुँह में छाले हो जाने पर पान को चबाए और बाद में पानी से कुल्ला कर ले। ऐसा दिन में 2 बार करे। राहत मिलेगी। आप चाहे तो ज़्यादा कत्था लगवा कर मीठा पान खा सकते हैं।
कैंसर : पान चबाने से ओरल कैंसर से भी बचा जा सकता है बशर्ते की पान का इस्तेमाल जर्दा और तम्बाकू के बिना किया जाये। पान के पत्ते में मौजूद एब्सकोर्बिक एसिड और अन्य एंटीऑक्सीडेंट मुंह में बन रहे हानिकारक कैंसर फ़ैलाने वाले तत्वों को नष्ट करते हैं। इसके सेवन से मुंह की दुर्गन्ध भी जाती है।
आँखों की जलन और लाल होना : 5-6 छोटे पान के पत्तो को ले और उन्हे एक ग्लास पानी में उबाले. इस पानी से आँखो पर छींटे मारे। आँखो को काफ़ी आराम मिलेगा।
खुजली : पान के 20 पत्तो को पानी में उबाले। अच्छी तरह से उबलने के बाद इस पानी से नहा ले। खुजली की समस्या ख़त्म हो जाएगी।
मोटापा : वजन कम कर रहे लोगो के लिए पान के पत्ते चबाना बहुत ही फायदेमंद होता है। पान के सेवन शरीर का मेटाबोलिज्म आश्चर्यजनक रूप से बढता है। जिस से वजन कम करने में सहयता मिलती है। इसके सेवन से शरीर से अतिरिक्त वसा भी नष्ट होती है।
मसूड़ो से खून आना : 2 कप पानी में 4 पान के पत्ते को डाल कर उबाल ले। इस पानी से गरारे करे। मसूड़ो से खून आना बंद हो जाएगा।
पौरुष शक्ति : पान को सेक्स का सिंबल भी माना जाता है। सेक्स संबंध से पहले खाने से इस क्रिया का अधिक सुख लिया जा सकता है। इसलिए नए जोड़े को पान खिलाने की परंपरा भी काफी पुरानी है। इसलिए इसे दिया जाता है।
स्तनपान करवाने की समस्या : पान के कुछ पत्तो को ले। इन्हे धोने के बाद इन पर तेल लगा कर हल्का सा गर्म कर ले और गुनगुना होने पर इसे स्तनों (ब्रेस्ट निपल्स) के आस-पास रखे, इससे सूजन चली जाएगी और बच्चें को दूध पिलाने में आसानी होगी।
मुँह की बदबू : पान के पत्ते चबा ले या पानी में उबाल कर गरारे करे। मूह से बदबू की समस्या दूर हो जाएगी।
मुहांसे : पान के 8 पत्ते अच्छी तरह से पीस ले। इसे 2 ग्लास पानी में गाढ़ा होने तक उबाले। बाद में इसे फेसपैक की तरह इस्तेमाल करे। मुहांसे दूर हो जाएँगे।

महिलाओं में श्वेत प्रदर : पान के 11 पत्ते 2.5 लिटर पानी में उबाल ले। इस पानी से अपनी योनि को धोए। सफेद पानी आने की समस्या में आराम मिलेगा।
बालतोड़ : आयुर्वेद में पान के पत्तों का इस्तेमाल बालतोड़ के उपचार के लिए किया जाता है। बालतोड़ (Boil) हो जाने पर पान के पत्तों को हल्का गर्म कर लें और उसपर अरंडी का तेल लगाकर बालतोड़ वाले स्थान पर चिपकाएँ।

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